प्रेम चंद अग्रवाल की बढ़ती मुश्किलों पर हरदा की सलाह, कहा- गलती स्वीकार कर मांग ले माफी

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कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल के द्वारा युवक की पिटाई के मामले में अब नया मोड़ आ गया है। पहले कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल का नाम जहां FIR में दर्ज नहीं था। वहीं आरटीआई के माध्यम से इसको लेकर खुलासा हो गया है। जिससे लग रहा है कि आने वाले दिनों में कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल की मुश्किलें बढ़ सकती हैं।

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मारपीट मामले में कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल की मुश्किलें आने वाले दिनों में बढ़ सकती हैं। क्योंकि पहले जहां FIR जो दर्ज हुई थी उसमें कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल का नाम नहीं था। तो वहीं आरटीआई के जरिए इस बात की पुष्टि हो गई है कि मारपीट मामले में सुरेंद्र सिंह नेगी की तरफ से जो तहरीर दी गई थी, उसके मुताबिक मारपीट मामले में कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल के नाम मुकदमा दर्ज हुआ है।

जिससे कयास लगाए जा रहे हैं कि कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल के नाम से दर्ज हुए मुकदमे से उनकी मुश्किलें आने वाले दिनों में इसलिए बढ़ सकती है। क्योंकि कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल पहले भी जहां विवादों में कई बार घिरे हैं, तो वहीं इस बार उनके नाम पर मुकदमा दर्ज हुआ है। विपक्ष भी जहां लगातार इस मुद्दे को लेकर कई सवाल खड़े कर रहा है और कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल को बर्खास्त करने की मांग कर रहा है।

हरदा ने कैबिनेट मंत्री अग्रवाल को दी सलाह
इस मामले में अब पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत भी कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल को खास सलाह देते हुए नजर आ रहे हैं। हरीश रावत का कहना है कि प्रेमचंद अग्रवाल को यह मामला थाने में न ले जाकर माफी मांगनी चाहिए थी।

हरदा का कहना है कि कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने आवेश में आकर जो गलती की है उसे उन्हें स्वीकार करना चाहिए। लेकिन भाजपा में अहंकार कूट कूट कर भरा है। इसलिए कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद भी अहंकार में है। इसलिए वह माफी नहीं मांग रहे हैं।

माफी मांग ले कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल
पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत भले ही कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल को माफी मांगने की सलाह दे रहे हैं। लेकिन कांग्रेस के कई नेता कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल को बर्खास्त करने की मांग कर रहे हैं। जिससे भाजपा के लिए कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल इन दिनों बड़ी मुसीबत बने हुए हैं। क्योंकि प्रेमचंद के मामले पर भाजपा को भी जवाब देना भारी पड़ रहा है। यही वजह है कि भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष कह रहे हैं कि यह मामला अभी थाने में है।

कैबिनेट मंत्री के लिए परेशानी का सबब बन सकता ये मुकदमा
कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल पर 147, 323 और 506 धारा के तहत मुकदमा दर्ज हुआ है। हालांकि यह मारपीट से जुड़ा हुआ मामला है। इसलिए इसमें ज्यादा मुश्किलें प्रेमचंद की बढ़ने वाली नहीं है। लेकिन जिस तरीके से एक कैबिनेट मंत्री के नाते उन पर मुकदमा दर्ज हुआ है उससे सरकार और भाजपा संगठन की छवि भी धूमिल हो रही है।

इसलिए माना जा रहा है कि प्रेमचंद अग्रवाल की वजह से जो नुकसान पार्टी और सरकार को रहा है। उसका संज्ञान अगर हाईकमान ने लिया तो प्रेमचंद अग्रवाल के लिए ये मुकदमा परेशानी का सबब बन सकता है।