पार्टी के महारथियों की बड़ी मुसीबत,अपने ही गढ़ में फसे

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उत्तराखंड के चुनावी रण में प्रत्याशियों की अग्निपरीक्षा शुरू हो गई है। प्रदेश में चुनाव के लिए 9 दिन का समय बचा है। ऐसे में 70 विधानसभा सीटों पर चुनाव मैदान में उतरे प्रत्याशियों के लिए दूरस्थ गांवों के लोगों तक संपर्क करने की बड़ी चुनौती है। मौसम भी बेईमान बना हुआ है। हाल ये है कि जिन दिग्गजों पर अपनी पार्टी को आगे बढ़ाने का जिम्मा है, वो अपने क्षेत्रों में ही फंसकर रह गए हैं। सीएम पुष्कर सिंह धामी खटीमा से चुनाव लड़ रहे हैं। जबकि पूर्व सीएम हरीश रावत लालकुआं और कर्नल अजय कोठियाल गंगोत्री सीट से मैदान में हैं। ये तीनों ही सीएम पद के दावेदार हैं और इन पर 70 सीटों पर पार्टी को जीत दिलाने का दारोमदार भी है, लेकिन कंपटीशन इतना तगड़ा है कि पार्टियों के ये सेनापति अपने ही दुर्ग से बाहर नहीं निकल पा रहे। सीएम पुष्कर सिंह धामी खटीमा में फंसे हैं। पूर्व सीएम हरीश रावत लालकुआं में हैं और कर्नल अजय कोठियाल गंगोत्री का रण फतह करने की तैयारी में हैं। बीजेपी युवा सीएम पुष्कर सिंह धामी के चेहरे पर चुनाव लड़ रही है। वो खटीमा से दो बार विधायक रह चुके हैं, और उन पर पार्टी को दोबारा सत्ता में लाने की बड़ी जिम्मेदारी है। फुरसत मिलने पर वो दूसरे क्षेत्रों में जाते तो हैं लेकिन मन खटीमा में ही रहता है। इसी तरह लालकुआं से मैदान में उतरे हरीश रावत पर भी पार्टी की जीत का दारोमदार है, लेकिन वो लालकुआं से बाहर नहीं निकल पा रहे।

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यहां उन्हें बीजेपी के मोहन सिंह बिष्ट और कांग्रेस से बगावत कर चुनाव मैदान में उतरीं संध्या डालाकोटी से चुनौती मिल रही है। इसी तरह आम आदमी पार्टी के सीएम उम्मीदवार कर्नल अजय कोठियाल भी गंगोत्री के चक्रव्यूह में फंसे हैं। इस सीट से कांग्रेस के विजयपाल सजवाणऔर बीजेपी से सुरेश चौहान चुनावी मैदान में हैं। कर्नल अजय कोठियाल पहली बार चुनाव लड़ रहे हैं, जाहिर है उन पर जीत हासिल करने का तगड़ा प्रेशर होगा। वो गंगोत्री में गांव-गांव जाकर लोगों से संपर्क करने में जुटे हैं। इसी तरह कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष गणेश गोदियाल भी चुनाव प्रचार के लिए अपने क्षेत्र श्रीनगर तक सिमट कर रह गए हैं। बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक भी धर्मनगरी हरिद्वार के समर से बाहर नहीं निकल पा रहे। इस तरह चुनावी रण में बीजेपी, कांग्रेस और आप के तमाम बड़े चेहरे दूसरे विधानसभा क्षेत्रों के बजाय अपने दुर्ग को सुरक्षित करने में ज्यादा ऊर्जा और समय दे रहे हैं।