जिस घर से उठनी थी बहन की डोली, निकली भाई समेत चाचा की अर्थी; क्या है पूरा मामला?

दादरी के सठली गांव में नाली के पानी को लेकर दिवाली के दिन चाचा-भतीजे की गोली मारकर हत्या कर दी गई। इस घटना में कई लोग घायल भी हुए। मृतक के घर में शादी की तैयारियां चल रही थीं, लेकिन इस घटना ने खुशियों को मातम में बदल दिया। पुलिस ने मामला दर्ज कर आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है, और गांव में तनाव का माहौल है।
दादरी। जारचा थाना क्षेत्र के सठली गांव में सड़क पर नाली का पानी भरने को लेकर हुए विवाद में दिवाली वाले दिन चाचा-भतीजे की गोली मारकर हत्या कर दी गई। आठ साल के बच्चे समेत तीन लोग पैर में गोली लगने से घायल हो गए। आरोपियों में से एक ईकोटेक-3 थाना क्षेत्र का हिस्ट्रीशीटर है।
मृतकों की पहचान सठली गांव निवासी 55 वर्षीय अजयपाल भाटी और उनके 22 वर्षीय भतीजे दीपांशु के रूप में हुई है। घायलों का अस्पताल में इलाज चल रहा है। इस दोहरे हत्याकांड ने कई सपने चकनाचूर कर दिए हैं। दीपांशु की बड़ी बहन की शादी दो नवंबर को तय थी। कुछ दिन बाद बारात आनी थी।
शादी की शहनाइयां बजनी थीं, लेकिन इस दुखद घटना ने खुशियों को मातम में बदल दिया। सगाई समारोह 29 अक्टूबर को होना था। बेटी को शादी में देने के लिए स्कॉर्पियो गाड़ी पहले से ही खड़ी थी। शादी के कार्ड भी बंट चुके थे। अब, छोटे भाई और चाचा की मौत के बाद, परिवार गम और शोक में डूबा हुआ है।
सैंथली गाँव निवासी अजयपाल और धारा सिंह, दोनों भाइयों के परिवार दादरी में रहते हैं। तीसरे भाई, दीपांशु के पिता, अनूप भाटी, गाँव में ही रहते हैं। धारा सिंह गृह मंत्रालय से सेवानिवृत्त हुए थे, जबकि अजयपाल छह महीने पहले ही सीआईएसएफ से सेवानिवृत्त हुए थे। दोनों परिवार दिवाली मनाने के लिए एक सप्ताह पहले ही गाँव आए थे।
प्रिंस भाटी का घर उनके घर के ठीक सामने है। उन्होंने पक्की सड़क ऊँची करवा दी थी, जिससे उनके शौचालय का पानी गली में बह रहा था, जिससे आने-जाने में दिक्कत हो रही थी। धारा सिंह और अजयपाल ने इसकी शिकायत प्रिंस के भाई जितेंद्र से की। प्रिंस को यह बात बुरी लगी। रविवार शाम प्रिंस अपने भाई के साथ धारा सिंह और अजयपाल के घर पहुँचा। दोनों के बीच कहासुनी हो गई और प्रिंस ने अजयपाल को थप्पड़ मार दिया।
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विवाद बढ़ता देख धारा सिंह और पड़ोसियों ने बीच-बचाव कर मामला संभाला। अजयपाल और धारा सिंह नहीं चाहते थे कि दोनों पक्षों के बीच कोई झगड़ा हो। सोमवार को पंचायत में विवाद सुलझाने के लिए सहमति बन गई। सोमवार सुबह अजयपाल ने गांव के बुजुर्गों को इकट्ठा करना शुरू किया, लेकिन प्रिंस किसी और काम में व्यस्त था। उसने अपने मामा के बेटे बॉबी तोंगड़, निवासी आनंदपुर को फोन किया। बॉबी एक अपराधी है।
वह दो कारों में सादुल्लापुर गांव निवासी मनोज नागर और कई अन्य अपराधियों के साथ पहुंचा। मनोज इकोटेक 3 थाना क्षेत्र का एक बड़ा हिस्ट्रीशीटर है, जिस पर कई मामले दर्ज हैं। अजयपाल का परिवार गांव के मंदिर में पूजा करने गया था। जब दो कारें दरवाजे पर रुकीं, तो अजयपाल को शक हुआ कि प्रिंस परिवार पर हमला कर सकता है। जैसे ही वह घर पर बैठे लोगों के साथ कारों की ओर बढ़ा, अपराधियों ने हवा में पिस्तौल तान दी। फिर, उन्होंने गोलियां चला दीं। एक गोली अजयपाल के सीने में लगी।
गोलियों की आवाज सुनकर अजयपाल का भतीजा दीपांशु अपने चाचा को बचाने के लिए दौड़ा। अपराधियों ने दीपांशु पर भी सीधी गोली चलाई, जो उसके सीने और कनपटी में लगी। दोनों की मौके पर ही मौत हो गई। अपराधी फायरिंग करते हुए फरार हो गए। गुस्साए परिजनों ने ग्रामीणों के साथ मिलकर सैंथली चौकी पर जीटी रोड जाम कर दिया। डीसीपी सदमिया खान और अन्य पुलिस अधिकारी मौके पर पहुँचे और स्थिति को नियंत्रण में किया। किसी तरह शोकाकुल परिजनों को समझा-बुझाकर पोस्टमार्टम कराने के बाद दोनों के शवों का अंतिम संस्कार किया गया। पुलिस की चार टीमें आरोपियों की तलाश में छापेमारी कर रही हैं।
परिवार में मातम, गांव में नहीं मनाई दिवाली
घटना के बाद से गाँव में सन्नाटा पसरा हुआ है। स्थिति तनावपूर्ण बनी हुई है और मौके पर पुलिस तैनात है। इस साल गाँव में दिवाली नहीं मनाई गई। दीपांशु और अजयपाल के घर पचास मीटर की दूरी पर स्थित हैं। दोनों के घरों पर शोक संवेदनाओं का तांता लगा हुआ है। दीपांशु दिल्ली पुलिस में पोस्ट-ग्रेजुएशन की तैयारी कर रहा था। डीसीपी सदमिया खान ने बताया कि पीड़ित की शिकायत के आधार पर चार लोगों प्रिंस भाटी, जितेंद्र, बॉबी तोंगड़ और मनोज नागर के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया गया है और उनकी गिरफ्तारी के प्रयास जारी हैं। अपराधी जल्द ही पुलिस की गिरफ्त में होंगे।
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