ओखलकांडा के प्रवासियो ने किया होली गायन का आयोजन, दिलो के मिलन के लिए बताया बड़ा त्योहार (देखें वीडियो )

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हल्द्वानी एसकेटी डॉटकॉम

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हल्द्वानी में ओखलकांडा क्षेत्र के कई परिवारों ने होली गायन का आयोजन किया. खड़ी होली का आयोजन कर एक दूसरे को बधाई दीं. इस दौरान जानकारों ने बताया कुमाऊंनी खड़ी होली के गायन की अपनी ही विधा है इस होली के माध्यम से भगवान श्री कृष्ण और शिव की स्तुतिकी जाती है गायन के समय होलियारों की कदमताल और होली के गायन के शब्द को उठाने की विधा होती है साथ ही वाद्य यंत्र के बजाने का भी सामजस्य होता है.

इसके अलावा होली एक दूसरे से मिलने का सबसे बड़ा त्यौहार और भारतवर्ष का सबसे बड़ा त्यौहार इसलिए भी माना जाता है कि इस दिन अगर किसी के मन में कोई राग द्वेष होता है तो वह भी गले मिलकर अपने राग द्वेष को खत्म कर लेता है इसीलिए होली का अपना विशेष महत्व है.

होली के गायन में जिस तरह से लोग मदमस्त रहते हैं तथा एक दूसरे पर  पुष्प फूल अवीर गुलाल की वर्षा करते हैं उससे लोगों के दिल में एक दूसरे के प्रति सम्मान और प्यार बढ़ जाता है.

ओखल कांडा क्षेत्र के स्थानीय लोग जो हल्द्वानी में जगह-जगह बसे हैं वह अपने मित्रों तथा पड़ोसियों के घरों में होली का गायन करते हैं तथा अपने गांव की याद को ताजा कर रहे हैं हल्द्वानी में जहां-जहां भी उनके घरों में जाकर यह होली का गायन करते हैं