यहाँ बीजेपी तिरंगा यात्रा मे हई कहासुनी युवा नेता ने दूसरे नेता क़े घर की तोड़फोड़ चलाई गोली मुकदमा दर्ज

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हरिद्वार एसकेटी डॉट कॉम

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बीजेपी की हर घर तिरंगा यात्रा की बैठक के दौरान हुई बहस एक बीजेपी नेता को इतनी नागवार गुजरी की उसने साथी नेता के घर जाकर उसपर फायरिंग कर दी।

जानकारी क़े मुताबिक हरिद्वार विधायक मदन कौशिक के आवास के पास हर घर तिरंगा की बैठक चल रही थी जिसमे हरिद्वार के तमाम बीजेपी कार्यकर्ता जमा थे.

बैठक के दौरान दीपक टंडन और युवा नेता विष्णु अरोरा के बीच कहासुनी हो गयी जिसे वहाँ उपस्थित लोगों ने समझा बुझा कर शांत करा दिया था वही भाजपा के युवा नेता दीपक टंडन ने बताया कि बैठक के बाद घर पहुंचे तो विष्णु अरोड़ा 40 से 50 लड़कों के साथ उनके घर पहुंचा और घर मे तोड़फोड़ शुरू कर दी।

इस दौरान उसने फायरिंग कर दी।बीजेपी नेता ने बताया कि गनीमत रही कि वह समय रहते नीचे बैठ गए नही तो गोली उनको भी लग सकती थी। मामले की जानकारी मिलते ही मौके पर पहुंची पुलिस ने जांच शुरू कर दी है और आरोपी की तलाश शुरू कर दी है।

मुकदमे में विष्णु अरोड़ा, श्रेय श्रास्त्री, वासु शर्मा, कृष्णा अरोड़ा, लक्की भदौरिया, कुशल पाल सैनी, उधम सैनी, विपिन रावत, हेमशंकर, नोनी पेवल, सौरव वैद, शुभम वशिष्ठ, अमन यादव, कुन्नू पहाड़ी, कुनाल अरोड़ा को नामजद किया गया है। बाकी 30 आरोपित अज्ञात हैं।

सीसीटीवी कैमरों की फुटेज से उनकी पहचान कराई जाएगी। आरोप है कि जान से मारने की नीयत से विष्णु अरोड़ा और लक्की भदौरिया ने गोली चलाई। गोली दीवार पर लगी और दीपक टंडन बाल-बाल बचा।हर महीने विवाद, फिर भी पद सलामत

भाजपा नेता विष्णु अरोड़ा की गुंडागर्दी का यह पहला मामला नहीं है। हर दूसरे, तीसरे महीने मारपीट, धमकाने जैसे मामलों में उसका नाम आता है। अधिकांश पीड़ित मुकदमा दर्ज कराने की हिम्मत नहीं जुटा पाते। कोई मुकदमा दर्ज कराता भी है तो पुलिस ज्यादातर मामलों में उसके खिलाफ कार्रवाई नहीं कर पाती।

हैरत की बात है कि अक्सर मारपीट व झगड़े करने के बावजूद विष्णु अरोड़ा भाजपा में मंडल उपाध्यक्ष के पद पर बना हुआ है। शुक्रवार रात और शनिवार को खुलेआम गुंडागर्दी और फायरिंग का वीडियो इंटरनेट मीडिया पर वायरल हो रहा है।पंचपुरी के गुंडा तत्वों की फौज

विष्णु अरोड़ा के पास पूरी पंचपुरी के गुंडा तत्वों की फौज है। हमलावरों में मध्य हरिद्वार ही नहीं, उत्तरी हरिद्वार व कनखल क्षेत्र के असामाजिक तत्व शामिल थे।

दरअसल, उनके साथ कोई भी विवाद होने पर विष्णु अरोड़ा तुरंत अपने साथियों को लेकर पहुंच जाता है। इसी तरह विष्णु के साथ झगड़ा होने पर दूसरे क्षेत्रों से उसके समर्थक युवक मिनटों में आ धमकते हैं।