दुकानदार का क्षत-विक्षिप्त शव मिला गुलदार ने बनाया निवाला ग्रामीणों में आक्रोश

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पिथौरागढ़ एसकेटी डॉट कॉम

मानव वन्यजीव संघर्ष सदियों से चलता आ रहा है और मानव को इसके लिए हमेशा ही अपना जीवन गवाना भी पड़ता है ऐसा ही एक मामला पिथौरागढ़ के लालघाटी से सामने आ रहा है जहां उसे अपनी दुकान बंद कर घर को लौट रहे राजेंद्र सिंह मेहता जब 1 जनवरी को अपने घर नहीं पहुंचे तो उनके परिजनों ने उन्हें कई जगह ढूंढने की कोशिश की लेकिन उनका कहीं पता नहीं चला। काफी खोजबीन के बाद रविवार को लालघाटी से उनके घर को आने वाले रास्ते में झाड़ियों में शव मिला। उनके शरीर पर पाए गए गांव के अनुसार ऐसा लग रहा है कि वह नहीं गुलदार ने खींच कर उनका मांस खा लिया।

डुंगरी गांव से एक जनवरी के दिन लापता हुए एक अधेड़ का शव कल शाम ग्रामीणों ने झाडियों से ढूंढ निकाला। शव को देखकर लग रहा है कि उसे जंगली जानवर ने मार दिया होगा। शव की शिनाख्त 55 वर्षीय राजेंद्र सिंह मेहता के रूप में हुई है पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर उसको सब विच्छेदन गृह भेज दिया है इस घटना से परिवार में कोहराम मचा हुआ है।

फ़ाइल फ़ोटो राजेन्द्र सिंह मेहता 55 वर्ष

रविवार की शाम ग्रामीणों को राजेंद्र सिंह मेहता का क्षत-विक्षत शव झाड़ियों में पड़ा मिला। शव को देखकर लग रहा था कि उसे जंगली जानवर ने अपना शिकार बनाया है। ग्रामीणों ने इसकी सूचना वन विभाग व पुलिस को दी। थल के थाना प्रभारी हीरा सिंह डांगी, वन बीट अधिकारी नवीन जोशी, योगेश कुमार टीम के साथ मौके पर पहुंचे। स्थानीय ग्रामीणों ने वन विभाग से जंगली वन्य जीव से सुरक्षा की गुहार लगाई है