गौला का रौद्र रूप बिंदुखत्ता के कई तटबंद हुए ध्वस्त, भूकटाव का देखिये वीडियो#goulariver

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लालकुआं एसकेटी डॉटकॉम

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गौला ने अपना प्रचंड रूप दिखाना शुरू कर दिया है. लगातार तीन दिन से हो रही बारिश से पहाड़ों से लगातार पानी गोला नदी में मिल रहा है जिसकी वजह से गोला उठने लगी है जिसकी वजह से बिंदुखट्टा के कई गांव की जमीनों को मौर्य अपने में समाना शुरू कर दिया है.

गौला नदी ने बिन्दुखत्ता के इंद्रानगर द्वितीय, रावत नगर, चौड़ा घाट, शीशम भुजिया क्षेत्र में अफरा तफरी मचा दी है। जगह- जगह बनाए गए तटबंधों को दरकिनार कर नदी का पानी गांव में प्रवेश कर गया है, जिससे दर्जनों परिवारों के समक्ष अपने अस्तित्व को लेकर चिंता व्याप्त हो गई हैं।

अब तक कई लोगों की जमीन नदी में समा चुकी है। ग्रामीण लंबे समय से ठोस तटबंध बनाने की शासन प्रशासन से जोरदार मांग कर रहे थे, परंतु उचित स्थान पर तटबंध नहीं बनने के चलते तटीय क्षेत्रों में रहने वाले लोगों में घरों के बहने का भय हो गया है।

नदी किनारे रहने वाले सैकड़ों परिवार दहशत में हैं। ग्रामीणों का कहना है कि प्रभावितों एवं पीड़ितों की तत्काल प्रशासन मदद करें। इसके अलावा रावत नगर समेत कई गांव बाढ़ की चपेट में आते जा रहे हैं इन क्षेत्रों में भू कटाव तेज हो गया है।

तहसीलदार सचिन कुमार व कोतवाली के प्रभारी निरीक्षक डीआर वर्मा ने गौला नदी के तटीय क्षेत्रों का निरीक्षण कर स्थिति का जायजा लिया।
इधर भारी बरसात के चलते नगर से लगी श्रमिक बस्तियों जिसमें नगीना कॉलोनी, 25 एकड़ झोपड़पट्टी, बजरी कंपनी, खड्डी मोहल्ला, वीआईपी गेट स्थित विभिन्न कालोनियों में जलभराव होने से लोगों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।

इस दौरान कई कच्चे घर ध्वस्त हो गए, और उनमें रह रहे परिजन खुले आसमान के नीचे आने को विवश हो गए।विधायक डॉ मोहन बिष्ट का कहना है कि गौला नदी में पानी का बहाव तेज हो जाने एवं कुछ चेक डामों के टूट जाने से नदी ने रावत नगर एवं इंदिरानगर दितीय में भू कटाव किया है, जहां तहसीलदार और सिंचाई विभाग के अधिकारियों को भेजा गया है, तथा जिला प्रशासन से भी वह लगातार संपर्क बनाए हुए हैं। उन्होंने कहा कि प्रभावितों की मदद कराई जाएगी।


इधर तहसीलदार सचिन कुमार ने बताया कि उन्होंने गौला नदी के तटीय क्षेत्रों का निरीक्षण किया, इंदिरा नगर द्वितीय एवं रावत नगर क्षेत्र में भू कटाव हो रहा है तथा वह गौला नदी पर पूरी नजर बनाए हुए हैं। उन्होंने कहा कि फिलहाल 20 हजार क्यूसेक पानी नदी में चल रहा है।