बड़ी खबर- रेलवे में नौकरी दिलाने के नाम पर लाखों की ठगी
देहरादून। रेलवे में ग्रुप सी व डी में नौकरी लगवाने का झांसा देकर शातिर ने टिहरी के एक व्यक्ति से करीब सवा सात लाख रुपये ठग लिए। पीड़ित की शिकायत पर थाना नेहरू कॉलोनी थाना पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर आरोपित की तलाश शुरू कर दी है।
अशोक राज निवासी ग्राम नैथाना चौरास, कीर्तिनगर, टिहरी गढ़वाल ने पुलिस को शिकायत दी। बताया कि उसके ससुर गोविंद सिंह ने अशोक से कहा उनकी जान-पहचान का व्यक्ति राकेश सिंह बिष्ट निवासी गांवडी पोस्ट, किमगडी, जिला पौड़ी है, जो मेरठ में मिलिट्री इंजीनियरिंग सर्विसेज में बतौर स्टोर कीपर कार्यरत है। राकेश सिंह बिष्ट की रेलवे में जान-पहचान है और वह छह लाख रुपये में दामाद की पक्की नौकरी लगवा सकता है। विश्वास में लेने के लिए राकेश बिष्ट ने अपना आधार कार्ड, बैंक चेक की फोटो कापी वाट्सएप से भेजी और एक शपथ पत्र भी दिया।
अशोक और गोविंद सिंह के हामी भरने के बाद कहा कि शुरुआत में केवल 30 हजार रुपये मेडिकल प्रमाण पत्र आदि के लिए देने होंगे, बाकी के पांच लाख 70 हजार रुपये नियुक्ति के बाद देने हैं। राकेश ने उन्हें मेडिकल प्रमाण पत्र भेजा और 30 हजार रुपये ले लिए।
इसके बाद डाक के जरिये जॉब कॉल लेटर पूर्वी रेलवे हेड क्वार्टर कोलकाता के नाम से भेजा। आठ फरवरी 2022 को अशोक को रेलवे हेडक्वार्टर पहुंचने को कहा गया। कोलकाता पहुंचने पर सत्य प्रकाश नाम के व्यक्ति का अशोक को फोन आया और रेलवे हेडक्वार्टर जाने का रास्ता बताया।
हेडक्वार्टर पहुंचने पर पूर्व में प्राप्त कॉल लेटर वापस लेकर पासपोर्ट साइज फोटो के साथ एक रजिस्टर पर हस्ताक्षर कराए गए और वहां से वर्धमान रेलवे स्टेशन आने को कहा। मगर वहां कहा गया कि अब देर हो गई है, कल आना। अशोक दो दिन होटल में रुका, लेकिन नियुक्त नहीं मिली।
कुछ दिन बाद अशोक को कहा गया कि ईमेल के माध्यम से टीटी पद पर नियुक्ति का लेटर आएगा। राकेश ने नौकरी लगने का विश्वास दिलाया और एक होटल में मुलाकात के बाद अशोक से कुल सात लाख 20 हजार रुपये ले लिए। इसके बाद घर भेज दिया। इसके कई दिनों बाद तक जब ई-मेल नहीं आया तो अशोक ने राकेश को फोन कर रकम वापस मांगी। लेकिन, वह टालमटोल करता रहा। जब उसके गांव जाकर पूछताछ की तो पता चला वह अन्य कई व्यक्तियों से भी इसी प्रकार ठगी कर चुका है।
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