पौड़ी हादसे में मरने वालों की चिताएं देख रोने लगा पूरा गांव, हर तरफ मातम

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पौड़ी में हुए बस हादसे में मारे गए लोगों के शव उनके हरिद्वार के लालढांग स्थित गांव में लाए गए। एक साथ 13 शवों के पहुंचने से पूरे गांव में मातम पसर गया। हर घर से रोने की आवाजें आ रहीं थीं। हादसे में मारे गए लोगों के शवों में एक बच्चे के शव को दफनाया गया जबकि एक ग्रामीण के शव को भूसमाधि दी गई।

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शवों के पहुंचते ही पूरे गांव में मानों कोहराम मच गया। हर तरफ रोने की आवाजें आने लगीं। अंतिम संस्कार में ग्रामीणों का सैलाब उमड़ पड़ा। इस दौरान डीएम विनय शंकर पांडेय और अन्य प्रशासनिक अधिकारियों ने भी मरने वालों के परिजनों से मुलाकात की। डीएम ने व्यक्तिगत तौर पर हादसे के शिकार लोगों के परिजनों को आश्वस्त किया है कि किसी भी तरह की दिक्कत नहीं होने दी जाएगी। हर परिवार का पूरा ख्याल रखा जाएगा।


आपको बता दें कि लालढांग के संदीप की बरात चार अक्तूबर को पौड़ी जिले के कांडा मल्ला गांव के लिए निकली थी। बस में 52 लोग सवार थे। ये बस पौड़ी के रिखणीखाल से कुछ दूरी पर दुर्घटनाग्रस्त हो गई थी। मरने वालों में लालढांग, रसूलपुर, गाजीवाली गांवों के अलावा दूल्हे संदीप के नाते-रिश्तेदार अलग-अलग गांवों के थे। इस हादसे में कुल 33 लोगों की मौत हुई है। कई लोगों के शव शुक्रवार को गांव पहुंचेंगे।