बिग ब्रेकिंग- नैनीताल रोड के एक बहु चर्चित स्कूल को बाल संरक्षण आयोग का नोटिस

मानकों की अनदेखी पर 26 बिंदुओं पर मांगा सप्ष्टिकरण ,15 अप्रैल को तलब किया दून
छात्रों की संख्या, उपलब्ध कक्षा कक्षो की क्षमता, स्वास्थ्य के लिए नियुक्त डॉक्टर, नर्स एवम प्राइमरी चिकित्सा हेतु दवाइयां की उपलब्धता का रिकॉर्ड
3 वर्ष का फी स्ट्रक्चर विद्यालय में विभिन्न कक्षाओं में पढ़ाने वाले की अध्यापक सैलरी का विवरण
देहरादून/हल्दवानी skt. com
सबसे बड़ी खबर आ रही है बाल संरक्षण आयोग के अध्यक्ष की ओर से नैनीताल रोड के प्रसिद्ध स्कूल निर्मला कॉन्वेंट को 26 सूत्री नोटिस का जवाब देने के लिए 15 अप्रैल को देहरादून स्थित अपने कार्यालय में तलब किया है। बाल संरक्षण आयोग के इस नोटिस के बाद हल्द्वानी के कई पब्लिक स्कूलों में हड़कंप मचा हुआ है इसके अलावा कई पब्लिक स्कूल बाल संरक्षण आयोग के रडार पर हैं जल्द ही इन पर भी औसत निरीक्षण जा सकता है बच्चों की फीस तथा सीबीएसई के मानक जो संरक्षण आयोग के ओर से जारी किए जाने वाले नियमावली का पालन नहीं करने वाले स्कूलों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की संभावना जताई जा रही है
जानकारी के अनुसार बाल संरक्षण आयोग के अध्यक्ष डॉ गीता खन्ना ने विगत सप्ताह अपने नैनीताल दौरे के दौरान कई स्कूलों का औचक निरीक्षण किया इस दौरान उन्होंने निर्मला कान्वेंट नैनीताल रोड का भी निरीक्षण किया।
निरीक्षण के दौरान उन्हें भारी खामियां दिखाई दी उन्होंने प्रिंसिपल की अनुपस्थिति में सहायक प्रिंसिपल से इस संबंध में जानकारी चाहिए तो वह स्पष्ट रूप से कोई जानकारी नहीं दे पाई ।इस संबंध में उन्होंने कई खामियां पाई। ऐसी खामियां मिली बच्चों और वहां कार्यरत अध्यापकों और सहायक स्टाफ के लिए सही नहीं पाई गई ।
वहां पर निरीक्षण में एनसीईआरटी की कई मानकों का उल्लंघन देखा गया इसके अलावा बाल संरक्षण आयोग की नियमावली की हुई धज्जियां उड़ती हुई देखी गई। इस मामले में नाराजगी व्यक्त करते हुए बाल संरक्षण आयोग के अध्यक्ष ने 15 दिन का समय देते हुए 26 बिंदुओं के नोटिस का जवाब देने के लिए अपने देहरादून स्थित कार्यालय में तलब किया है ।
निरीक्षण के दौरान मीडिया से बात करते हुए डॉ खन्ना ने कहा कि यहां पर जिस तरह की व्यवस्था है उसमें 3000 से अधिक बच्चे पढ़ाई कर रहे हैं । एक कमरे में 60 से अधिक बच्चे पढ़ रहे है। जो कि एक दूसरे के ऊपर चढ़ते हुए बैठे है। सीबीएसई के मानकों के तहत कमरो एवम बच्चों का अनुपात कही भी मेल नही खा रहा है।
कई तरह की मानकों का उल्लंघन कर रहे हैं इसके अलावा बच्चों के अचानक स्वास्थ्य खराब होने पर उनके लिए किसी भी तरह की व्यवस्थाएं उचित नहीं दिख रही थी ना तो वहां पर नर्स देखी गई और ना ही स्वच्छ वेंटिलेशन के साथ स्वास्थ्य परामर्श कक्ष ही मिला।
यहां पर काउंसलिंग करने हेतु नियुक्त की गई महिला बच्चों को कक्षा में पढ़ा रही है इसके अलावा इस प्रिंसिपल का चार्ज वरिष्ठ प्राध्यापक को देने की बजाय अकाउंटेंट को दिया गया है जो कि कहीं भी मानकों को पूरा नहीं करता है
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