गाड़ी खरीदना-बेचना नहीं होगा आसान, जान लें ये नया नियम, वरना हो सकते हैं परेशान

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अब गाड़ी, कार और बाइक खरीदना और बेचना दोनों ही आसान नहीं होगा। अगर आपको गाड़ी खरीदनी है या फिर बेचनी हो या फिर उसे सरेंडर करना हो इन सभी के लिए आपका आधार कार्ड और मोबाइल फोन नंबर आपस में लिंक होने चाहिए।

गाड़ी खरीदने-बेचने के लिए जान लें ये नया नियम
अब गाड़ी खरीदने या बेचने के लिए उसकी फिटनेस जांच कराने या फिर उसे सरेंडर करने के लिए आपका आधार कार्ड और मोबाइल फोन नंबर आपस में लिंक होना जरूरी है।

इन सभी कामों के लिए अब OTP उसी नंबर पर आएगा जिस से आपका आधार कार्ड लिंक है। अगर ऐसा नहीं है तो आप गाड़ी खरीद या बेच नहीं सकेंगे।

आधार से मोबाइल नंबर लिंक होना है जरूरी
नेशनल इन्फॉर्मेटिक्स सेंटर ने वाहन से जुड़े कामों जैसे खरीदने और बेचने के लिए आधार कार्ड से लिंक मोबाइल नंबर अनिवार्य कर दिया है। बता दें कि वाहनों से जुड़े किसी भी काम के लिए पहले ऑनलाइन फीस जमा की जाती है। जिसके बाद रजिस्टर्ड मोबाइल फोन नंबर पर ओटीपी आता है।

अब तक तो ओटीपी किसी भी नंबर पर आ जाता था। लेकिन अब से ऐसा नहीं होगा। ओटीपी केवल आधार कार्ड के साथ जो मोबाइल फोन नंबर लिंक है उसी नंबर पर आएगा। इसके बाद ही वाहन से जुड़ा कोई भी काम हो पाएगा।

नए नियम से फर्जीवाड़े पर लगेगी रोक
वाहनों को खरीदने-बेचने से जुड़े इस नए नियम के बाद फर्जीवाड़े पर रोक लगेगी। अब तक वाहन के दस्तावेज होने पर कोई भी व्यक्ति ओटीपी के लिए अपना फोन नंबर देकर काम करा देता था। लेकिन अब से ऐसा नहीं हो पाएगा। इस नियम के कारण खासकर दलाल ऐसा नहीं कर पाएंगे।