2015 बैच सब इंस्पेक्टर भर्ती पर विजिलेंस ने शुरू की जांच मचा हड़कंप

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प्रदेश में 2015 में हुई दरोगा भर्ती को लेकर विजिलेंस ने जांच शुरू कर दी है। प्रदेश के डीजीपी अशोक कुमार ने इसी पुष्टि करते हुए कहा है कि मामले की निष्पक्ष जांच की जाएगी और दोषी पाए जाने पर कड़ी कार्रवाई होगी।


बताया जा रहा है कि विजिलेंस की जांच शुरू होते ही राज्य में खासकर 2015 बैच के दरोगाओं यानी सब इंस्पेक्टरों में हड़कंप मचा है। विजिलेंस सूत्रों के अनुसार वर्ष 2015 में उत्तराखंड में 339 दारोगा भर्ती हुए। इनमें से कुमाऊं में 120 दारोगा तैनात हैं। इनमें 46 ऊधमसिंह नगर व 38 नैनीताल, पिथौरागढ़ में 15 और अल्मोड़ा, चंपावत व बागेश्वर में सात-सात दरोगा सेवारत हैं। सभी दारोगाओं का मुख्यालय से रिकार्ड लेकर जांच शुरू कर दी गई है।


यह भी बताया जा रहा है कि विजीलेंस के निशाने पर सबसे पहले वह टॉपर दरोगा हैं, जिनकी कार्यशैली लचर है। बताया जा रहा है कि इनमें से कुछ दरोगाओं को हिंदी लिखने में भी दिक्कत होती है। चर्चा है कि वह केस डायरी भी नहीं लिख पाते और यह काम पैंसे देकर या कोई बहाना बनाकर अपने मातहतों से कराते हैं। ऐसे दारोगाओं पर गाज गिरनी तय मानी जा रही है।