उत्तराखंड रोडवेज ने लापरवाही करने वाले कर्मचारियों के खिलाफ उठाए सख्त कदम

Ad
Ad
ख़बर शेयर करें

राज्य में अब तक की बड़ी खबर सामने आ रही है जानकारी के अनुसार यहां पर रोडवेज में लगातार चालकों और परिचालकों की शिकायत सामने आ रही है। रोडवेज पहले ही घाटे में है औऱ जिसका बड़ा कारण चालक-परिचालकों की मनमानी और लापरवाही सामने आई है। वहीं बता दें कि एक बार फिर से परिचालकों की लापरवाही सामने आई है वो भी ड्यूटी को लेकर। इसकी शिकायत भी की गई है। एमडी के आदेश पर परिवहन निगम ने लापरवाह कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई करना शुरू कर दी है। बता दें कि रोडवेज में बड़ा खेल खेला जा रहा है। कर्मचारी कागज में तो हाजिर हैं लेकिन असल में वो ड्यूटी से नदारद हैं, जिसके बाद सवाल खड़ा हो रहा है कि आखिर ये खेल कौन कैसे खेल रहा है और इसमे कौन शामिल है।

पांच परिचालकों के खिलाफ रोडवेज ने कार्रवाई
आपको बता दें कि दिल्ली और देहरादून मार्ग पर ड्यूटी होने के बावजूद अचानक गायब होने वाले पांच परिचालकों के खिलाफ रोडवेज ने कार्रवाई की है। निगम ने फिलहाल सभी पर ढाई हजार का जुर्माना लगाया है। एआरएम ने स्टेशन प्रभारी को पत्र लिखा है जिसमे कहा गया है कि ड्यूटी को लेकर इनकी खास निगरानी की जाए। जिसके बाद भविष्य में दोबारा पूर्व सूचना के गायब होने पर इन परिचालकों को पद से हटाया जाएगा। बकायदा उत्तराखंड रोडवेज में चस्पा सूची में इनके नाम भी सार्वजनिक किए गए हैं। इस कार्रवाई से कर्मचारियों में हड़कंप मच गया है।

लापरवाह कर्मचारियों पर लगाम कसने के आदेश जारी
प्रबंध निदेशक का पद संभालने के बाद डा. नीरज खैरवाल ने सबसे पहले लापरवाह कर्मचारियों पर लगाम कसने के आदेश जारी किए हैं। जिस वजह से रोजाना ऑफिस स्टाफ और वर्कशॉप से जुड़े कर्मचारियों की इन और आउट होते वक्त वाट्सएप से हाजिरी रिकॉर्ड रोज दो वक्त मुख्यालय भेजा जाता है। वहीं, 22 अगस्त को विशेष श्रेणी के परिचालक अनिल कुमार देहरादून, पूरन सिंह दिल्ली, दिनेश सिंह दिल्ली और 26 अगस्त को प्रेम सिंह और दिनेश भंडारी दिल्ली रूट पर नहीं गए। जबकि कागजों पर इनकी ड्यूटी चढ़ी थी। पांचों पर फिलहाल 500-500 रुपये जुर्माना लगाया गया है।

चालक-परिचालक ड्यूटी से मिल रहे गायब
बता दें कि उत्तराखंड रोडवेज में अक्सर चालक-परिचालकों के ड्यूटी से गायब होने की शिकायत की गई है। कहा गया है कि इस वजह से कई बार रूटों पर गाड़ी भेजना मुश्किल हो जाता है। जिससे निगम की आय पर तो असर पर ही रहा है साथ ही इसका खामियाजा यात्रियों को भुगतना पड़ रहा है इससे रोडवेड की छवि भी खराब हो रही है।