‘Maha Kumbh में VIP घाट नहीं होना चाहिए’, स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने क्यों की आलोचना? जानें यहां

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‘There should not be a VIP ghat in Maha Kumbh’, why did Swami Avimukteshwarananda criticize?

Maha Kumbh 2025 को सफल बनाने के लिए उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने प्रयागराज में अलग से एक नगरी बसा दी है। टेंट सिटी से लेकर खाने पीने की सुविधाओं औप वीआईपी घाट तक सभी चर्चा में है। इन वीआईपी घाटों को लेकर शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद ने बड़ा बयान दिया है। उन्होनें वीआईपी घाटों की आलोचना की है। उन्होनें कहा कि VIP घाट नहीं होने चाहिए।

हमारे धर्म में VIP घाट की कोई व्यवस्था नहीं

स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने एक मीडिया चैनल को इंटरव्यू देते हुए कहा कि जब से सरकारी व्यवस्था हुई तो इन लोगों ने वीआईपी घाट बना दिए। उन्होनें कहा कि हमारे धर्म के अनुसार VVIP घाट नाम की कोई व्यवस्था ही नहीं है। उन्होनें कहा कि हमारे यहां सभी एक समान तरीके से ही नहाते हैं।

स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने महाकुंभ में वीआईपी घाट बनने को लेकर कहा कि VIP घाट बन गया लेकिन हमारे धर्म के अनुसार कोई भी VIP घाट नहीं हो सकता। उन्होनें  कहा कि उसी घाट पर शंकराचार्य जी नहाते हैं। उसी पर जिसे आप दलित-पिछड़े कह रहे हो वो भी नहाता है।

मां की गोद में कोई भी VIP नहीं होता

इसी के साथ स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने कहा कि मां की गोद में कोई भी VIP नहीं होता है। उन्होनें कहा कि भले ही कोई चपरासी हो या कोई जज हो जाए, लेकिन मां गंगा की नजर में सभी एक हैं। उन्होनें कहा कि हम सभी एक साथ ही नहाते हैं और कोई भी किसी की जाति नहीं पूछता। उन्होनें कहा कि राजनीति के लोग कहते हैं कि सनातन धर्म राजनीति में बंटा हुआ है लेकिन ऐसा नहीं है।

किसी भी तरह का भेद नहीं होना चाहिए

स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने कहा कि कुंभ आज का नहीं है। परंपरा वर्षों से चली आ रही है। उन्होनें कहा कि सनातन धर्म में किसी भी तरह का कोई जातिवाद नहीं है। शंकराचार्य ने कहा कि मां गंगा की गोद में कुछ भी ऊंच-नीच नहीं है। उन्होनें कहा कि सभी समान है, इसलिए इसमें किसी भी तरह का भेद नहीं होना चाहिए।