बिग न्यूज़- विकास प्राधिकरण पर शासनादेशो का सही क्रियान्वन न करने का आरोप

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एसोसिएशन ऑफ रजिस्टर्ड इंजीनियरएवं ड्राफ्टमैन (ऑर्किड) संस्था ने शासनादेश 34/v-2/21-10 के सही क्रियान्वन करने की मांग को लेकर सौंपा ज्ञापन

हल्द्वानी skt.com

संगठन का रजिस्टर्ड इंजीनियर और ड्राफ्ट्समैन ऑर्किड ने विकास प्राधिकरण के अभियंताओं पर लोगों के निर्माण कार्यों पर बार-बार आपत्तियां लगाए जाने का विरोध करते हुए कहा कि शासनादेश के अनुसार इसमें सिर्फ एक ही बार आपत्तियां लगाई जा सकती है तथा उन्हें निस्तारित करने की समयावधि15प्लस 7 तथा 30 दिन मैं सभी आवासीय एवं व्यावसायिक मानचित्र डीम्ड एक ही बार मे स्वीकृति करने का प्रावधान है । जबकि प्राधिकरण के सहायक और अवर अभियंता इन नियमों का पालन नहीं करहैं।

इस संबंध में उल्लिखित शासनादेश का पालन नहीं कर रहे हैं यह सिर्फ विकास प्राधिकरण के नोटिस बोर्ड पर चस्पा है ।लेकिन वास्तविक रूप से ऐसा नहीं किया जा रहा है। विकास प्राधिकरण पर शासनादेशो का सही क्रियान्वन न करने और शासनादेश संख्या 34/V-2/21-10 (आ0)/2020 दिनांक 20 नवम्बर 2023 के कार्यान्वयन कराना एवं अवर अभियन्ता/अपर सहायक अभियन्ता द्वारा अनुचित आपत्तियाँ बार-बार लगाये लगाई जा रही हैं।

उत्तराखण्ड सरकार के शासनदेश संख्या 34/V-2/21-10 (आ0)/2020 दिनांक 20 नवम्बर 2023 के कार्यान्वयन सिर्फ ऑनलाईन पास करने वाली वेबसाईट UHUDA के नोटिस बोर्ड में सिर्फ दिखावे / चेतावनी के लिए लगाया गया है जबकि उसका कार्यान्वयन बिलकुल नहीं हो रहा है।

जबकि शासनादेश संख्या 34/V-2/21-10 (आ0)/2020 दिनांक 20 नवम्बर 2023 के स्पष्ट निर्देश है कि आपत्तियां सिर्फ 01 बार लगाने, अनापत्ति प्रमाण-पत्र जमा करने के लिए 15+7 दिन बढ़ाने, आवासीय एवं व्यावसायिक पत्रावली को 30 दिनों में स्वीकृत करवाने/ डिम्ड स्वीकृत करवाने / के आदेश को कार्यान्वयन करवाने की आपसे अनुरोध किया जा रहा है। यदि इस मामले में विकास प्राधिकरण ने शासनादेश का सही अनुपालन नहीं किया तो संस्था को सरकार अथवा न्यायालय में जन को मजबूर होना पड़ेगा /