तीनो कृषि कानूनों को वापस लेने का फैसला पीएम ने लिया फैसला,

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पीएम मोदी ने तीनो कृषि कानूनों को वापस लेने का फैसला किया है। बीते कई महीनो से किसानो ने इसके खिलाफ आवाज़ उठाई थी, लेकिन उसके बाद किसानो और सरकार में कई दौर की वार्ता हुई लेकिन उसका कोई हल न निकला।

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कोरोना काल में देश के नाम 11वें संबोधन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किसानों के चल रहे धरना-प्रदर्शन को बंद करने के लिए तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने का ऐलान कर दिया है. उन्होंने कहा कि किसानों की स्थिति सुधारने के लिए ही 3 कृषि कानून लाए गए थे. मकसद था कि किसानों को और ताकत मिले. हालांकि लगता है कि हमारी तपस्या में कोई कमी रह गई होगी. उन्होंने कहा कि इस महीने के अंत में शुरू होने जा रहे संसद सत्र में तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने की संवैधानिक प्रक्रिया को शुरू करेंगे. पीएम मोदी ने कहा कि यह अलग बात है कि हम किसानों को समझा नहीं सके. ऐसे में अब कृषि कानून वापस लेने के बाद किसान खेतों की ओर वापस लौट जाएं.

संसद सत्र में पूरी होगी प्रक्रिया

पीएम मोदी ने कहा, आज मैं आपको, पूरे देश को, ये बताने आया हूं कि हमने तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने का निर्णय लिया है. इस महीने के अंत में शुरू होने जा रहे संसद सत्र में, हम इन तीनों कृषि कानूनों को वापस करने की संवैधानिक प्रक्रिया को पूरा कर देंगे.

किसान की तक़लीफो को करीब से महसूस किया है : पीएम मोदी

उन्होंने कहा, ”मैंने अपने 5 दशक के सार्वजनिक जीवन में किसानों की परेशानियों और चुनौतियों को बहुत करीब से देखा और महसूस किया है। जब देश ने मुझे 2014 में प्रधानमंत्री के रूप में सेवा का अवसर दिया तो हमने कृषि विकास को सर्वोच्च प्राथमिकता दी। यह सुनिश्चित करने के लिए कि किसानों को उनकी मेहनत के लिए सही राशि मिले, कई कदम उठाए गए। हमने ग्रामीण बुनियादी ढांचे के बाजार को मजबूत किया। हमने न केवल एमएसपी बढ़ाया बल्कि रिकॉर्ड सरकारी खरीद केंद्र भी स्थापित किए। हमारी सरकार द्वारा खरीद ने पिछले कई दशकों का रिकॉर्ड तोड़ दिया।